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नवरात्रि व्रत में खाया कुट्टू का आटा, 200 से ज्यादा लोग बीमार, स्वास्थ्य विभाग में मचा हड़कंप

भ्रम ने एक बार फिर विश्वास को गंभीर रूप से क्षतिग्रस्त कर दिया है। चैत्र नवरात्र के पहले दिन श्रद्धालु गेहूं का आटा खाकर अस्पताल पहुंचे।
 
नवरात्रि व्रत में खाया कुट्टू का आटा, 200 से ज्यादा लोग बीमार, स्वास्थ्य विभाग में मचा हड़कंप

भ्रम ने एक बार फिर विश्वास को गंभीर रूप से क्षतिग्रस्त कर दिया है। चैत्र नवरात्र के पहले दिन श्रद्धालु गेहूं का आटा खाकर अस्पताल पहुंचे। बेसन खाने से 200 से ज्यादा लोग फूड पॉइजनिंग के शिकार हो गए। इनमें से 150 से अधिक मरीजों का सोनीपत के सिविल अस्पताल और कुछ का विभिन्न निजी अस्पतालों में इलाज चल रहा है. इस पूरे मामले में स्वास्थ्य विभाग के आला अधिकारियों ने मीडिया के कैमरों से दूरी बना ली है.

बेसन के सेवन से अक्सर बीमारी की खबरें आती रही हैं, लेकिन देर रात सोनीपत से आई खबर ने हंगामा खड़ा कर दिया है. सोनीपत के सिविल अस्पताल हों या निजी अस्पताल, हर जगह लोग फूड पॉइजनिंग के इलाज के लिए पहुंच रहे हैं. कुट्टू का आटा खाने के बाद सभी को फूड प्वाइजनिंग हो गई है। नवरात्र के पहले ही दिन श्रद्धालुओं ने शाम को गेहूं के आटे की रोटी खाई, जिसके बाद देर रात सभी की तबीयत बिगड़ गई.

सिविल अस्पताल में 150 से ज्यादा मरीज पहुंचे
सोनीपत के सिविल अस्पताल की बात करें तो यहां अब तक 150 से ज्यादा मरीज इलाज के लिए पहुंच चुके हैं. मरीजों व उनके परिजनों ने बताया कि वे नवरात्र का व्रत कर रहे थे. बुधवार शाम को गेहूं के आटे की रोटी खाई। कुछ ने कहा कि उन्होंने कुट्टू के आटे से बने अन्य व्यंजन खाए हैं। इसके बाद देर रात उनकी तबीयत बिगड़ने लगी और सुबह तक उल्टी, दस्त और चक्कर आने की शिकायत बढ़ गई थी.

मरीज आते रहते हैं
मरीजों व उनके परिजनों ने बताया कि तबीयत बिगड़ने के कारण सभी सामान्य अस्पताल व निजी अस्पताल पहुंचे थे. फूड पॉइजनिंग के ज्यादातर मरीज सोनीपत के सिविल अस्पताल में भर्ती हुए हैं. सोनीपत सिविल अस्पताल में अब तक 150 से ज्यादा मरीज आ चुके हैं और अभी भी यहां मरीज आ रहे हैं. फिर त्योहार के दौरान मिलावटखोरों की इस हरकत पर अधिकारी चुप्पी साधे हुए हैं।