मलयालम अभिनेता श्रीनिवासन का निधन: सिनेमा में अपूरणीय क्षति
मलयालम सिनेमा के दिग्गज का निधन
मलयालम अभिनेता श्रीनिवासन का निधन: अनुभवी अभिनेता, पटकथा लेखक और फिल्म निर्माता श्रीनिवासन का शनिवार को लंबी बीमारी के बाद निधन हो गया। 69 वर्षीय अभिनेता ने कोच्चि के एक अस्पताल में अंतिम सांस ली, जहां उनका इलाज चल रहा था। वह लंबे समय से स्वास्थ्य समस्याओं से जूझ रहे थे और 2022 में उनकी हृदय सर्जरी हुई थी। श्रीनिवासन को डायलिसिस के लिए अस्पताल ले जाया गया था, जब उन्हें सांस लेने में कठिनाई हुई। इसके बाद उन्हें त्रिपुनिथुरा के सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया गया।
अस्पताल के अधिकारियों के अनुसार, उन्होंने सुबह करीब साढ़े आठ बजे अंतिम सांस ली। उनकी पार्थिव देह को अस्पताल से उनके निवास स्थान पर लाया गया। श्रद्धांजलि के लिए पार्थिव शरीर को एर्नाकुलम टाउन हॉल में रखा जाएगा, और अंतिम संस्कार उनके घर पर किया जाएगा। कन्नूर के निवासी श्रीनिवासन पिछले कई वर्षों से त्रिपुनिथुरा के कंदनाडु में रह रहे थे।
प्रसिद्ध निर्देशक सत्येन एंथिकड़ ने कहा कि श्रीनिवासन लंबे समय से बीमार थे। उन्होंने बताया, 'मैं उनसे हर दो सप्ताह में मिलता था। हाल ही में उनकी सर्जरी हुई थी और उन्हें चलने में कठिनाई हो रही थी, लेकिन उनकी सोचने की क्षमता पूरी तरह से ठीक थी।'
श्रीनिवासन का जन्म 6 अप्रैल 1956 को कन्नूर जिले के पट्टियम में हुआ था। उन्होंने मट्टन्नूर के पीआरएनएसएस कॉलेज से अर्थशास्त्र में स्नातक की डिग्री प्राप्त की और फिर चेन्नई में तमिलनाडु फिल्म एवं टेलीविजन संस्थान में अध्ययन किया।
उन्होंने 1976 में पी ए बैकर द्वारा निर्देशित फिल्म 'मणिमुझक्कम' से अपने अभिनय करियर की शुरुआत की। श्रीनिवासन ने मोहनलाल और ममूटी जैसे दिग्गज अभिनेताओं के साथ कई यादगार भूमिकाएँ निभाईं। इसके अलावा, उन्होंने पटकथा लेखन में भी पहचान बनाई, जिसमें 1984 में 'ओदारुथम्मावा अलारियाम' से शुरुआत की।
1989 में 'वडक्कुनोक्कियंत्रम' से निर्देशन की शुरुआत की, जो मलयालम सिनेमा की एक क्लासिक फिल्म मानी जाती है। उन्होंने 'चिंताविष्टयया श्यामला' (1998) का भी निर्देशन किया, जिसे सर्वश्रेष्ठ फिल्म का राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार मिला। श्रीनिवासन द्वारा लिखित राजनीतिक व्यंग्य फिल्म 'संदेशम' (1991) को भी केरल राज्य फिल्म पुरस्कार मिला।
कोच्चि में बसने के बाद, उन्होंने जैविक खेती भी शुरू की। उनके दो बेटे, विनीत और ध्यान, भी मलयालम फिल्म उद्योग में अभिनेता हैं। उनके परिवार में उनकी पत्नी विमला और उनके दो बेटे शामिल हैं। मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने कहा कि श्रीनिवासन का निधन मलयालम सिनेमा के लिए एक अपूरणीय क्षति है।
मुख्यमंत्री ने कहा, 'उन जैसे बहुत कम फिल्मकार हुए हैं जिन्होंने आम आदमी की जिंदगी को इतनी सफलता से पर्दे पर उतारा हो। श्रीनिवासन ने सिनेमा की कई पुरानी परंपराओं को तोड़ा और अपनी अलग राह बनाई।'
मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के राज्य सचिव एम वी गोविंदन ने कहा कि श्रीनिवासन सिनेमा जगत के लिए एक स्थायी प्रेरणा बने रहेंगे। उन्होंने कहा, 'उनमें आम लोगों की समस्याओं को हास्य के साथ पर्दे पर उतारने की अनोखी कला थी।'
केरल विधानसभा में विपक्ष के नेता वी. डी. सतीशन ने कहा कि श्रीनिवासन एक अद्वितीय कलाकार थे, जिन्होंने असाधारण शैली में छोटे लोगों की जिंदगी को चित्रित किया। उन्होंने कहा कि वह मलयालम फिल्म जगत के बहुमुखी प्रतिभा के धनी थे।