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अक्षय खन्ना की फिल्म 'धुरंधर' में नेगेटिव रोल से मिली नई पहचान

अक्षय खन्ना की नई फिल्म 'धुरंधर' में उनकी नकारात्मक भूमिका ने उन्हें फिर से चर्चा में ला दिया है। उन्होंने साल में केवल तीन फिल्में करने का नियम बनाया है, जिससे वह अपनी अदाकारी में बेहतरीन प्रदर्शन कर पाते हैं। फिल्म 'ताल' ने उनकी किस्मत बदल दी थी, और अब वह नकारात्मक किरदारों में भी अपनी पहचान बना चुके हैं। जानें उनके करियर के उसूल और अदाकारी के बारे में और भी खास बातें।
 

अक्षय खन्ना की चर्चा में बनी 'धुरंधर'

अक्षय खन्ना: फिल्म 'धुरंधर' के चलते अक्षय खन्ना लगातार सुर्खियों में हैं। उन्होंने इस फिल्म में एक नकारात्मक भूमिका निभाई है, जिसके लिए उन्हें दर्शकों से काफी सराहना मिल रही है। उनके डांस मूव्स भी सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहे हैं। रहमान डकैत के किरदार में उनकी अदाकारी इतनी प्रभावशाली रही है कि दर्शक उन्हें पसंद कर रहे हैं। हालांकि, उनके फिल्मी करियर के बारे में कुछ खास उसूल भी हैं, जिनके बारे में उन्होंने एक इंटरव्यू में बताया था।


साल में केवल 3 फिल्में करने का नियम

फिल्म 'ताल' के प्रमोशन के दौरान अक्षय खन्ना ने कई सवालों का जवाब दिया। जब उनसे पूछा गया कि वह साल में कितनी फिल्में करते हैं, तो उन्होंने कहा, "मैं कोशिश करता हूं कि साल में 3 से ज्यादा फिल्में न करूं, क्योंकि इससे मैं अपनी पूरी क्षमता नहीं दे पाता। इसलिए, मैं साल में केवल 3 फिल्में करने का प्रयास करता हूं।" इसके साथ ही उन्होंने अपने लेखन के शौक के बारे में भी चर्चा की।


'ताल' फिल्म ने बदली किस्मत

अक्षय खन्ना के लिए फिल्म 'ताल' बेहद महत्वपूर्ण रही है। इस फिल्म में उनके साथ ऐश्वर्या राय और अनिल कपूर ने भी मुख्य भूमिकाएं निभाई थीं। इस फिल्म ने उनकी किस्मत को रातों-रात बदल दिया और उनके करियर को मजबूती प्रदान की। रिपोर्ट के अनुसार, यह फिल्म 15 करोड़ रुपये के बजट में बनी थी और इसने विश्व स्तर पर 51.07 करोड़ रुपये का कलेक्शन किया।


नेगेटिव किरदारों में अक्षय की सफलता

अक्षय खन्ना ने हाल के दिनों में नकारात्मक भूमिकाओं में अपनी पहचान बनाई है। उन्होंने फिल्म 'छावा' में औरंगजेब का किरदार निभाया था, जिसमें उनकी अदाकारी वास्तविकता के करीब थी। इसके अलावा, उन्होंने 'ढिशूम', 'इत्तेफाक', 'रेस', और 'हमराज' जैसी फिल्मों में भी नकारात्मक भूमिकाएं निभाई हैं। यही वजह है कि 'धुरंधर' में उन्हें नकारात्मक किरदार निभाने में कोई कठिनाई नहीं हुई। उनकी अदाकारी इतनी शानदार रही है कि आज हर कोई उनकी प्रशंसा कर रहा है।